17 अक्टूबर को खत्म होगा शनि-राहु से बन रहा खतरनाक योग, तब तक इन राशियों को रहना होगा संभलकर

वैदिक ज्योतिष में शनि और राहु का विशेष महत्व माना जाता है। शनिदेव को जहां न्याय और फल दाता माना जाता है वहीं राहु को…

वैदिक ज्योतिष में शनि और राहु का विशेष महत्व माना जाता है। शनिदेव को जहां न्याय और फल दाता माना जाता है वहीं राहु को छाया ग्रह माना जाता है। शनिदेव व्यक्ति को उसके कर्मों के आधार पर शुभ और अशुभ फल देते हैं। शनि और राहु दोनों ही बहुत धीमी गति से चलने वाले ग्रह हैं। शनि जहां करीब ढाई साल बाद अपनी राशि बदलते हैं, वहीं राहु 18 महीने का समय लेते हैं। ऐसे में जब शनि या राहु की राशि बदलती है और फिर नक्षत्र बदलता है तो इसका असर हर राशि के जातकों के जीवन पर जरूर पड़ता है। शनि देव इस समय अपनी ही राशि कुंभ में विराजमान हैं और 15 मार्च से शनि शतभिषा नक्षत्र में प्रवेश कर चुके हैं। शनि देव 17 अक्टूबर 2023 तक इसी राशि में रहेंगे। शतभिषा नक्षत्र का स्वामी राहु है, ऐसे में शनि और राहु की युति पिछले कई महीनों से बनी हुई है। ऐसे में कुछ राशियों के लोगों को कुछ दिनों तक इस संयोग से दूर रहना होगा।

कर्क राशि
शनि और राहु के शतभिषा नक्षत्र में होने के कारण कर्क राशि के जातकों के लिए आने वाला समय अच्छा नहीं कहा जा सकता है। इस समय कर्क राशि के लोग शनि के प्रभाव में हैं। शतभिषा नक्षत्र में शनि और राहु की युति के कारण इस राशि के लोगों को 17 अक्टूबर तक बहुत सावधान रहना होगा। आर्थिक नुकसान होने की संभावना है। आपके खर्चे बढ़ सकते हैं। जो लोग नौकरीपेशा हैं, उन्हें अपने कार्यक्षेत्र में पूरी ताकत से कदम रखना होगा।

कन्या राशि
कन्या राशि के जातकों के लिए शतभिषा नक्षत्र में शनि-राहु की उपस्थिति ज्यादा शुभ नहीं रहने वाली है। इस राशि के लोगों को अभी कुछ दिनों तक स्वास्थ्य और धन संबंधी परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। आप काफी व्यस्त रहेंगे जिसके कारण आप अपने खाते में पैसे नहीं बचा पाएंगे। मान-सम्मान में हानि का सामना करना पड़ सकता है।

कुंभ राशि
शनि देव कुंभ राशि में विराजमान हैं और इस राशि पर शनि की साढ़े साती चल रही है। शनि की साढ़ेसाती के साथ राहु के नक्षत्र में शनि की मौजूदगी आने वाले कुछ दिनों में मुश्किलें और बढ़ा सकती है। ऐसे में इस राशि के लोगों को 17 अक्टूबर तक विशेष सावधान रहने की जरूरत होगी।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *